ऐसे पहचानें टीबी, इस बीमारी के चपेट में आने पर यह काम भूल कर भी ना करें

ऐसे पहचानें टीबी, इस बीमारी के चपेट में आने पर यह काम भूल कर भी ना करें

अम्बुज यादव

इस संसार में कई तरह की प्रजातियां पाई जाती हैं, जिसमें इंसान को सबसे ज्यादा बुद्धिमान और शक्तिशाली माना जाता हैं। वह इसलिए क्योंकि इंसान यानी हम लोग वह सब काम कर सकते है जो कार्य करने योग्य होते हैं। हमारी तुलना में अन्य जीव सभी कार्य नहीं कर सकते हैं। वही हम में बुद्धि और शक्ति तो है हि लेकिन हमें कई तरह के रोग भी होते रहते हैं जिससे हम अक्सर परेशान रहते हैं। उन्ही बीमारियों में कई छोटे रोग होते है तो कई ज्यादा गंभीर होते हैं जो जानलेवा भी हो जाते हैं। उसी में एक है टीबी जिसे ट्यूबरकुलोसिस कहते हैं। वही इसके अलावा हम तपेदिक नाम से भी इस रोग को जानते हैं। इसकी विशेषता यह है कि ये फेफड़ो को प्रभावित करता है जो गंभीर संक्रामक रोग के रुप में जाना जाता है।

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यह बीमारी बैक्टीरिया से होती है, जो एक दूसरे के माध्यम से फैल भी जाती है। टीबी अधिकतर खांसी और छींक के माध्यम से एक दूसरों तक पहुंचती है। हालांकि टीबी का इलाज सही तरीके से किया जाए तो उससे छुटकारा मिल सकता है। साथ ही हम इसे फैलने से भी रोक सकते हैं।

वहीं कई विशेषज्ञों का मानना है कि, कई बार टीबी होने के बावजूद शरीर में कोई भी लक्षण दिखाई नहीं देते हैं। ऐसा इसलिए क्योंकि इस बीमारी का कारण बनने वाले कीटाणु आपके शरीर में आपको बीमार किए बिना रह सकते हैं। वास्तव में, ज्यादातर लोग जो टीबी से संक्रमित होते हैं, वे फैलने से पहले कीटाणुओं से लड़ने में सक्षम होते हैं। डॉक्टर इसे "अव्यक्त टीबी" (Latent TB) संक्रमण कहते हैं। लेकिन अगर कीटाणु बहुतायत में होने लगें, तो आप टीबी से बीमार हो जाएंगे। डॉक्टर इसे "सक्रिय टीबी" (Active TB) कहते हैं। ऐसे में लोगों को समझ में नहीं आता कि टीबी को पहचाने कैसे, तो आज हम आपको इसी बारे में बताने जा रहे हैं। आइए जानते है टीबी के क्या-क्या लक्षण हैं?

  • तीन सप्‍ताह या उससे अधिक समय से खांसी आना
  • छाती में दर्द 
  • खांसी के साथ खून और म्‍यूकस का निकलना
  • कमजोरी महसूस करना या अत्‍यधिक थकान
  • अचानक से वजन का कम होना
  • ठंड लगना
  • बुखार 
  • रात में पसीना आना 
  • भूख की कमी 

अगर आपको इनमें से कोई भी लक्षण दिखाई दे तो आप एक्‍सपर्ट की सलाह ले सकते हैं। टीबी का इलाज किया जा सकता है, वरना ये घातक हो सकता है।

टीबी को कैसे रोका जा सकता है

केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय भारत सरकार के अनुसार, "बेसिक कफ मैनेजमेंट कर टीबी संक्रमण के प्रसार को रोका जा सकता है। अपने टीबी की दवाओं को नियमित रूप से लें और अपने चिकित्सक द्वारा बताए अनुसार उपचार का पूरा कोर्स कंप्‍लीट करें।"

टीबी कैसे फैलता है

एक व्यक्ति जिसके फेफड़ों में "सक्रिय" बीमारी है, वह इसे हवा के माध्यम से फैला सकता है। "सक्रिय" का मतलब है कि आपके शरीर में टीबी के कीटाणु बढ़ रहे हैं और फैल रहे हैं। यदि आप किसी ऐसे व्यक्ति के संपर्क में हैं, जिसे टीबी है, तो यह आपको भी हो सकता है। इसीलिए डॉक्टर उन लोगों को सलाह देते हैं जिन्हें सक्रिय टीबी (Active TB) की बीमारी है, वे घर और अन्य लोगों से यथासंभव दूरी बनाए रखें।

टीबी में क्‍या करें, क्‍या नहीं?

  • टीबी के मरीज कभी खुले में न खांसें और न ही थूकें
  • खांसते और छींकते समय मुंह को ढक कर रखें
  • टीबी के मरीज का कमरा ऐसा हो जिसमें हवा और सूर्य की रोशन का आवागमन बना रहेगा
  • कमरे की खिड़कियां खुली रखें, जिससे वेंटिलेशन की दिक्‍कत न हो
  • हाथों को पानी के साथ एंटी-बैक्‍टीरियल साबुन से धोएं
  • कफ को इकट्ठा कर उसे जमीन (मिट्टी) के नीचे दबा दें, बॉश बेसिन में भी कफ थूकने से बचें, क्‍योंकि इसके बैक्‍टीरिया नहीं मरते हैं।

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